धारा 413 आईपीसी - IPC 413 in Hindi - सजा और जमानत - चुराई हुई संपत्ति का अभ्यासतः व्यापार करना।

अपडेट किया गया: 01 Dec, 2024
एडवोकेट चिकिशा मोहंती द्वारा


LawRato

विषयसूची

  1. धारा 413 का विवरण
  2. धारा 413 पर अक्सर पूछे जाने वाले प्रश्न

धारा 413 का विवरण

भारतीय दंड संहिता की धारा 413 के अनुसार जो कोई ऐसी संपत्ति, जिसके संबंध में वह यह जानता है, या विश्वास करने का कारण रखता है कि वह चुराई हुई संपत्ति है, अभ्यासतः प्राप्त करेगा, या उसमें व्यापार करेगा, तो उसे आजीवन कारावास या किसी एक अवधि के लिए कारावास जिसे दस वर्ष तक बढ़ाया जा सकता है, और साथ ही आर्थिक दण्ड के लिए भी उत्तरदायी होगा।

लागू अपराध
चुराई हुई संपत्ति का अभ्यासतः व्यापार करना।
सजा - आजीवन कारावास या दस वर्ष तक कारावास और आर्थिक दण्ड।
यह एक गैर-जमानती, संज्ञेय अपराध है और सत्र न्यायालय द्वारा विचारणीय है।

यह अपराध समझौता करने योग्य नहीं है।

Offence : आदतन चोरी की संपत्ति में काम


Punishment : आजीवन कारावास या 10 साल + जुर्माना


Cognizance : संज्ञेय


Bail : गैर जमानतीय


Triable : सत्र न्यायालय



आईपीसी धारा 413 को बीएनएस धारा 317 में बदल दिया गया है।



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IPC धारा 413 पर अक्सर पूछे जाने वाले प्रश्न


आई. पी. सी. की धारा 413 के तहत क्या अपराध है?

आई. पी. सी. धारा 413 अपराध : आदतन चोरी की संपत्ति में काम



आई. पी. सी. की धारा 413 के मामले की सजा क्या है?

आई. पी. सी. की धारा 413 के मामले में आजीवन कारावास या 10 साल + जुर्माना का प्रावधान है।



आई. पी. सी. की धारा 413 संज्ञेय अपराध है या गैर - संज्ञेय अपराध?

आई. पी. सी. की धारा 413 संज्ञेय है।



आई. पी. सी. की धारा 413 के अपराध के लिए अपने मामले को कैसे दर्ज करें?

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आई. पी. सी. की धारा 413 जमानती अपराध है या गैर - जमानती अपराध?

आई. पी. सी. की धारा 413 गैर जमानतीय है।



आई. पी. सी. की धारा 413 के मामले को किस न्यायालय में पेश किया जा सकता है?

आई. पी. सी. की धारा 413 के मामले को कोर्ट सत्र न्यायालय में पेश किया जा सकता है।