धारा 124 आईपीसी - IPC 124 in Hindi - सजा और जमानत - किसी विधिपूर्ण शक्ति का प्रयोग करने के लिए विवश करने या उसका प्रयोग अवरोधित करने के आशय से राष्ट्रपति, राज्यपाल आदि पर हमला करना

अपडेट किया गया: 01 Dec, 2024
एडवोकेट चिकिशा मोहंती द्वारा


LawRato

विषयसूची

  1. धारा 124 का विवरण
  2. धारा 124 पर अक्सर पूछे जाने वाले प्रश्न

धारा 124 का विवरण

भारतीय दंड संहिता की धारा 124 के अनुसार जो कोई भारत के 18[राष्ट्रपति] या किसी राज्य 19।।। 20।।। 21।।। के 22[राज्यपाल 23।।।] को ऐसे 1[राष्ट्रपति या 16[राज्यपाल 17।।।]] की विधिपूर्ण शक्तियों में से किसी शक्ति का किसी प्रकार प्रयोग करने के लिए या प्रयोग करने से विरत रहने के लिए उत्प्रेरित करने या विवश करने के आशय से,
1 विधि अनुकूलन आदेश, 1950 द्वारा क्वीन के स्थान पर प्रतिस्थापित ।
2 1955 के अधिनियम सं0 26 की धारा 117 और अनुसूची द्वारा (1-1-1956 से) आजीवन निर्वासन के स्थान पर प्रतिस्थापित ।
3 1921 के अधिनियम सं0 16 की धारा 2 द्वारा और उसकी समस्त संपत्ति समपहृत कर लेगा के स्थान पर प्रतिस्थापित ।
4 1957 के अधिनियम सं0 36 की धारा 3 और अनुसूची 2 द्वारा दृष्टांत के स्थान पर प्रतिस्थापित ।
5 1957 के अधिनियम सं0 36 की धारा 3 और अनुसूची 2 द्वारा (क) कोष्ठकों और अक्षर का लोप किया गया ।
6 विधि अनुकूलन आदेश, 1950 द्वारा दृष्टांत (ख) का लोप किया गया ।
7 1870 के अधिनियम सं0 27 की धारा 4 द्वारा अंतःस्थापित ।
8 विधि अनुकूलन आदेश, 1948, विधि अनुकूलन आदेश, 1950 और 1951 के अधिनियम सं0 3 की धारा 3 और अनुसूची द्वारा ब्रिटिश भारत के स्थान पर संशोधित हो कर उपरोक्त रूप में आया ।
9 विधि अनुकूलन आदेश, 1950 द्वारा या क्वीन की प्रांतों या उनके किसी भाग की प्रभुता से वंचित करना शब्दों का लोप किया गया ।
10 भारत शासन (भारतीय विधि अनुकूलन) आदेश, 1937 द्वारा भारत सरकार या किसी स्थानीय सरकार के स्थान पर प्रतिस्थापित ।
11 विधि अनुकूलन आदेश, 1950 द्वारा प्रांतीय के स्थान पर प्रतिस्थापित ।
12 विधि अनुकूलन आदेश, 1948 द्वारा या बर्मा सरकार शब्दों का लोप किया गया ।
13 1955 के अधिनियम सं0 26 की धारा 117 और अनुसूची द्वारा आजीवन या उससे किसी लघुतर अवधि के लिए निर्वासन के स्थान पर प्रतिस्थापित ।
14 1921 के अधिनियम सं0 16 की धारा 3 द्वारा अंतःस्थापित ।
15 विधि अनुकूलन आदेश, 1950 द्वारा क्वीन के स्थान पर प्रतिस्थापित ।
16 1955 के अधिनियम सं0 26 की धारा 117 और अनुसूची द्वारा आजीवन निर्वासन के स्थान पर प्रतिस्थापित ।
17 1921 के अधिनियम सं0 16 की धारा 2 द्वारा और उसकी समस्त संपत्ति समपहृत कर ली जाएगी के स्थान पर प्रतिस्थापित ।
18 विधि अनुकूलन आदेश, 1950 द्वारा गवर्नर जनरल के स्थान पर प्रतिस्थापित ।
19 भारत शासन (भारतीय विधि अनुकूलन) आदेश, 1937 द्वारा या लेपिDटनेन्ट गवर्नर शब्दों का लोप किया गया ।
20 विधि अनुकूलन आदेश, 1948 द्वारा या भारत के गवर्नर जनरल की परिषद्् के किसी सदस्य शब्दों का लोप किया गया ।
21 भारत शासन (भारतीय विधि अनुकूलन) आदेश, 1937 द्वारा या किसी प्रेसिडेन्सी की परिषद्् के शब्दों का लोप किया गया ।
22 1951 के अधिनियम सं0 3 द्वारा गवर्नर के स्थान पर प्रतिस्थापित ।
23 विधि अनुकूलन (सं0 2) आदेश, 1956 द्वारा या राजप्रमुख शब्दों का लोप किया गया । भारतीय दंड संहिता, 1860 24
ऐसे 18[राष्ट्रपति या 15[राज्यपाल 16।।।]] पर हमला करेगा या उसका सदोष अवरोध करेगा, या सदोष अवरोध करने का प्रयत्न करेगा या उसे आपराधिक बल द्वारा या आपराधिक बल के प्रदर्शन द्वारा आतंकित करेगा या ऐसे आतंकित करने का प्रयत्न करेगा,
वह दोनों में से किसी भांति के कारावास से, जिसकी अवधि सात वर्ष तक की हो सकेगी, दंडित किया जाएगा और जुर्माने से भी, दंडनीय होगा ।

Offence : राष्ट्रपति, राज्यपाल, आदि को किसी भी वैध शक्ति के अभ्यास के लिए मजबूर करने या प्रतिबंधित करने के इरादे से हमला करना


Punishment : 7 साल + जुर्माना


Cognizance : संज्ञेय


Bail : गैर जमानतीय


Triable : सत्र न्यायालय



आईपीसी धारा 124 को बीएनएस धारा 151 में बदल दिया गया है।



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IPC धारा 124 पर अक्सर पूछे जाने वाले प्रश्न


आई. पी. सी. की धारा 124 के तहत क्या अपराध है?

आई. पी. सी. धारा 124 अपराध : राष्ट्रपति, राज्यपाल, आदि को किसी भी वैध शक्ति के अभ्यास के लिए मजबूर करने या प्रतिबंधित करने के इरादे से हमला करना



आई. पी. सी. की धारा 124 के मामले की सजा क्या है?

आई. पी. सी. की धारा 124 के मामले में 7 साल + जुर्माना का प्रावधान है।



आई. पी. सी. की धारा 124 संज्ञेय अपराध है या गैर - संज्ञेय अपराध?

आई. पी. सी. की धारा 124 संज्ञेय है।



आई. पी. सी. की धारा 124 के अपराध के लिए अपने मामले को कैसे दर्ज करें?

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आई. पी. सी. की धारा 124 जमानती अपराध है या गैर - जमानती अपराध?

आई. पी. सी. की धारा 124 गैर जमानतीय है।



आई. पी. सी. की धारा 124 के मामले को किस न्यायालय में पेश किया जा सकता है?

आई. पी. सी. की धारा 124 के मामले को कोर्ट सत्र न्यायालय में पेश किया जा सकता है।