धारा 273 आईपीसी - IPC 273 in Hindi - सजा और जमानत - अपायकर खाद्य या पेय का विक्रय

अपडेट किया गया: 01 Dec, 2024
एडवोकेट चिकिशा मोहंती द्वारा


LawRato

विषयसूची

  1. धारा 273 का विवरण
  2. धारा 273 पर अक्सर पूछे जाने वाले प्रश्न

धारा 273 का विवरण

भारतीय दंड संहिता की धारा 273 के अनुसार जो कोई किसी ऐसी वस्तु को, जो अपायकर कर दी गई हो, या हो गई हो, या खाने पीने के लिए अनुपयुक्त दशा में हो, यह जानते हुए या यह विश्वास करने का कारण रखते हुए कि वह खाद्य या पेय के रूप में अपायकर है, खाद्य या पेय के रूप में बेचेगा, या बेचने की प्रस्थापना करेगा या बेचने के लिए अभिदर्शित करेगा, वह दोनों में से किसी भांति के कारावास से, जिसकी अवधि छह मास तक की हो सकेगी, या जुर्माने से, जो एक हजार रुपए तक का हो सकेगा, या दोनों से, दण्डित किया जाएगा ।

Offence : खाने-पीने के रूप में किसी भी भोजन या पेय को बेचना, हानिकारक होने के लिए एक ही जानना


Punishment : 6 महीने या जुर्माना या दोनों


Cognizance : गैर - संज्ञेय


Bail : जमानतीय


Triable : कोई भी मजिस्ट्रेट



आईपीसी धारा 273 को बीएनएस धारा 275 में बदल दिया गया है।



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IPC धारा 273 पर अक्सर पूछे जाने वाले प्रश्न


आई. पी. सी. की धारा 273 के तहत क्या अपराध है?

आई. पी. सी. धारा 273 अपराध : खाने-पीने के रूप में किसी भी भोजन या पेय को बेचना, हानिकारक होने के लिए एक ही जानना



आई. पी. सी. की धारा 273 के मामले की सजा क्या है?

आई. पी. सी. की धारा 273 के मामले में 6 महीने या जुर्माना या दोनों का प्रावधान है।



आई. पी. सी. की धारा 273 संज्ञेय अपराध है या गैर - संज्ञेय अपराध?

आई. पी. सी. की धारा 273 गैर - संज्ञेय है।



आई. पी. सी. की धारा 273 के अपराध के लिए अपने मामले को कैसे दर्ज करें?

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आई. पी. सी. की धारा 273 जमानती अपराध है या गैर - जमानती अपराध?

आई. पी. सी. की धारा 273 जमानतीय है।



आई. पी. सी. की धारा 273 के मामले को किस न्यायालय में पेश किया जा सकता है?

आई. पी. सी. की धारा 273 के मामले को कोर्ट कोई भी मजिस्ट्रेट में पेश किया जा सकता है।