धारा 24 हिन्दू विवाह अधिनियम - वाद लंबित रहते भरण-पोषण और कार्यवाहियों के व्यय

October 11,2018


विवरण

जहाँ कि इस अधिनियम के अधीन के होने वाली किसी कार्यवाही में न्यायालय को यह प्रतीत हो कि, यथास्थिति, पति या पत्नी की ऐसी कोई स्वतंत्र आय नहीं है जो उसके संभाल और कार्यवाही के आवश्यक व्ययों के लिए पर्याप्त हो वहाँ वह पति या पत्नी के आवेदन पर प्रत्यर्थी को यह आदेश दे सकेगा कि वह अर्जीदार को कार्यवाही में होने वाले व्यय तथा कार्यवाही के दौरान में प्रतिमास ऐसी राशि संदत्त करे जो अर्जीदार की अपनी आय तथा प्रत्यर्थी की आय को देखते हुए न्यायालय को युक्तियुक्त प्रतीत हो :

परन्तु कार्यवाही का व्यय और कार्यवाही के दौरान की ऐसी मासिक राशि के भुगतान के लिये के आवेदन को, यथासंभव पत्नी या पति जैसी स्थिति हो, पर नोटिस की तामील से साठ दिनों में निपटाएंगे ।


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